भारी जलप्रवाह से आंध्र प्रदेश के जलाशयों का जलस्तर बढ़ा, श्रीशैलम और नागार्जुन सागर भराव क्षमता के करीब
भारी जलप्रवाह से आंध्र प्रदेश के जलाशयों का जलस्तर बढ़ा। श्रीशैलम और नागार्जुन सागर जलाशय भराव क्षमता के करीब, सिंचाई को राहत की उम्मीद लेकिन निचले इलाकों में बाढ़ की आशंका।
आंध्र प्रदेश के प्रमुख जलाशयों में हाल के भारी जलप्रवाह के कारण जलस्तर में उल्लेखनीय वृद्धि दर्ज की गई है। श्रीशैलम और नागार्जुन सागर जलाशय अपनी अधिकतम भराव क्षमता के करीब पहुँच गए हैं, जिससे सिंचाई और पेयजल आपूर्ति को लेकर राहत की उम्मीद जगी है।
आधिकारिक आंकड़ों के अनुसार, श्रीशैलम जलाशय की सकल भंडारण क्षमता 215.81 टीएमसी फीट (हजार मिलियन क्यूबिक फीट) है और यह अब लगभग पूरी तरह भर चुका है। लगातार बारिश और ऊपरी इलाकों से पानी के तेज बहाव के कारण जलाशय में प्रवाह बढ़कर खतरे के निशान के पास पहुँच गया है।
इसी तरह, नागार्जुन सागर जलाशय का जलस्तर भी अपनी अधिकतम सीमा के करीब पहुँच रहा है। जल संसाधन विभाग के अधिकारियों का कहना है कि पानी के तेज प्रवाह के कारण अगले कुछ दिनों में बांध के फाटकों को खोलने की आवश्यकता पड़ सकती है ताकि जलस्तर को नियंत्रित किया जा सके।
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विशेषज्ञों के अनुसार, इस बढ़ते जलस्तर से सिंचाई परियोजनाओं को पर्याप्त पानी मिलेगा और राज्य के कई हिस्सों में जल संकट कम हो सकता है। हालांकि, उन्होंने यह भी चेतावनी दी कि लगातार वर्षा से निचले इलाकों में बाढ़ की स्थिति उत्पन्न हो सकती है, जिसके लिए सतर्कता आवश्यक है।
सरकार ने जिला प्रशासन को बांधों की सुरक्षा, जलनिकासी व्यवस्था और आपातकालीन राहत उपायों की तैयारियां सुनिश्चित करने के निर्देश दिए हैं।