क़तर के अमीर का आरोप : इज़राइल का उद्देश्य गाज़ा को रहने लायक न छोड़ना
क़तर के अमीर शेख़ तमीम ने इज़राइल पर गाज़ा को रहने लायक न छोड़ने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि वार्ता के बावजूद लगातार हमले मानवीय संकट को और गहरा कर रहे हैं।
क़तर के अमीर शेख़ तमीम बिन हमद अल थानी ने इज़राइल पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि उसका असली मकसद गाज़ा को इस कदर तबाह करना है कि वह अब रहने लायक न बचे। उन्होंने कहा कि गाज़ा में हो रही निरंतर बमबारी और नागरिकों पर हमले यह दर्शाते हैं कि इज़राइल का लक्ष्य केवल हमास नेताओं का सफाया करना नहीं है, बल्कि पूरे क्षेत्र को नष्ट करना है।
शेख़ तमीम ने सवाल उठाया कि “यदि इज़राइल का उद्देश्य केवल हमास नेताओं की हत्या करना है, तो वह बातचीत और वार्ता की प्रक्रिया में क्यों शामिल हो रहा है?” उन्होंने अंतरराष्ट्रीय समुदाय से अपील की कि वह गाज़ा की स्थिति को केवल सुरक्षा के नजरिए से न देखे, बल्कि इसे मानवीय संकट के रूप में भी स्वीकार करे।
उन्होंने चेतावनी दी कि लगातार हमलों के कारण गाज़ा में जीवन बेहद कठिन हो गया है—स्वास्थ्य सेवाएं ठप हैं, पानी और बिजली की भारी किल्लत है, और हजारों लोग बेघर हो चुके हैं। शेख़ तमीम ने कहा कि ऐसे हालात में गाज़ा की जनता के पास जीवित रहने के लिए न्यूनतम संसाधन भी उपलब्ध नहीं हैं।
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क़तर लंबे समय से गाज़ा संकट में मध्यस्थ की भूमिका निभाता रहा है, लेकिन इज़राइल के हालिया हमलों के बाद उसने और कड़ा रुख अपनाया है। विशेषज्ञ मानते हैं कि इस बयान से मध्य-पूर्व में तनाव और गहरा सकता है।