गाज़ा शांति योजना के बाद त्रिपक्षीय तंत्र में क़तर शामिल
गाज़ा शांति योजना के तहत क़तर ने अमेरिका और इज़राइल संग त्रिपक्षीय तंत्र में भागीदारी की। यह सहयोग पुनर्निर्माण, मानवीय सहायता और क्षेत्रीय स्थिरता के लिए महत्वपूर्ण माना जा रहा है।
गाज़ा शांति योजना को लेकर अंतरराष्ट्रीय स्तर पर नई कूटनीतिक पहल सामने आई है। क़तर ने अमेरिका और इज़राइल के साथ त्रिपक्षीय तंत्र (Trilateral Mechanism) में शामिल होकर इस पहल को एक नई दिशा दी है। यह कदम हाल ही में अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप, इज़राइली प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू और क़तर के प्रधानमंत्री मोहम्मद बिन अब्दुलरहमान अल थानी के बीच हुई फोन वार्ता के बाद उठाया गया।
इस वार्ता में तीनों नेताओं ने गाज़ा क्षेत्र में लंबे समय से जारी संघर्ष और मानवीय संकट पर चर्चा की और इसे समाप्त करने के लिए संयुक्त प्रयासों पर सहमति व्यक्त की। क़तर की भागीदारी को इस दिशा में एक बड़ी सफलता माना जा रहा है क्योंकि क़तर लंबे समय से मध्य पूर्व में शांति और मानवीय सहायता की पहल करता रहा है।
विशेषज्ञों का मानना है कि यह त्रिपक्षीय तंत्र गाज़ा के पुनर्निर्माण, आर्थिक सहयोग और मानवीय सहायता वितरण में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकता है। साथ ही, यह इज़राइल और अरब देशों के बीच संवाद की नई संभावनाएं भी खोल सकता है।
ट्रंप प्रशासन की ओर से तैयार गाज़ा शांति प्रस्ताव को भारत सहित कई देशों ने समर्थन दिया है। अब क़तर का इसमें औपचारिक रूप से शामिल होना इस पहल को और मजबूती प्रदान करेगा।
कूटनीतिक हलकों में इसे मध्य पूर्व की राजनीति में एक "गेम चेंजर" कदम बताया जा रहा है। आने वाले समय में यह देखना महत्वपूर्ण होगा कि क्या यह त्रिपक्षीय सहयोग वास्तविक जमीनी स्तर पर गाज़ा क्षेत्र में स्थायी शांति और विकास की राह खोल सकता है।
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