सोनिया गांधी का नाम मतदाता सूची में शामिल करने के मामले में याचिका खारिज
अदालत ने सोनिया गांधी का नाम मतदाता सूची में शामिल करने के मामले में दायर याचिका खारिज कर दी।
नई दिल्ली की अदालत ने सोनिया गांधी के नाम को मतदाता सूची में शामिल करने के संबंध में दायर की गई याचिका को खारिज कर दिया है। यह याचिका वकील विकास त्रिपाठी द्वारा दायर की गई थी, जिसमें आरोप लगाया गया था कि जनवरी 1980 में सोनिया गांधी का नाम नई दिल्ली निर्वाचन क्षेत्र के मतदाता के रूप में जोड़ा गया था, जबकि उस समय वह भारतीय नागरिक नहीं थीं।
10 सितंबर को सुनवाई के दौरान वरिष्ठ अधिवक्ता पवन नारंग ने शिकायतकर्ता की ओर से अदालत में कहा कि सोनिया गांधी का नाम गलत तरीके से मतदाता सूची में दर्ज किया गया। उन्होंने अदालत से अनुरोध किया कि इस मामले की गंभीरता को देखते हुए जांच कर न्याय दिलाया जाए।
हालांकि, अदालत ने इस दावे को आधारहीन बताते हुए याचिका को खारिज कर दिया। न्यायालय ने कहा कि प्रस्तुत किए गए प्रमाण और दावे यथोचित नहीं हैं और इस मामले में किसी भी तरह की अनियमितता साबित नहीं हुई। अदालत ने यह भी स्पष्ट किया कि मतदाता सूची में किसी के नाम को शामिल करने या निकालने के लिए कानूनी प्रक्रिया और नियमों का पालन किया गया है।
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सोनिया गांधी, भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस की अध्यक्ष, कई वर्षों से भारतीय राजनीति में सक्रिय हैं और उनका नाम अक्सर राजनीतिक और कानूनी विवादों में आता रहा है। इस मामले में अदालत का निर्णय उनके पक्ष में गया है और इससे चुनावी प्रक्रिया की पारदर्शिता पर जोर दिया गया है।
विशेषज्ञों का कहना है कि यह फैसला केवल व्यक्तिगत मामला नहीं, बल्कि मतदाता सूची और चुनावी प्रक्रिया की वैधता को मजबूत करने की दिशा में भी महत्वपूर्ण है।