कर्नाटक नेतृत्व विवाद के बीच डी.के. शिवकुमार बोले—मुझे कुछ नहीं चाहिए, फैसला हाईकमान करेगा
कर्नाटक नेतृत्व विवाद पर डी.के. शिवकुमार ने कहा कि वे पद की दौड़ में नहीं हैं। हाईकमान ही फैसला करेगा। प्रियांक खड़गे ने भी बदलाव की अटकलें खारिज कर कांग्रेस की एकता दोहराई।
कर्नाटक में कांग्रेस नेतृत्व को लेकर चल रही हलचल के बीच उपमुख्यमंत्री डी.के. शिवकुमार ने शुक्रवार को एक बार फिर साफ किया कि वह किसी पद के लिए जल्दबाज़ी में नहीं हैं और मुख्यमंत्री पद पर फैसला पार्टी हाईकमान ही करेगा। उन्होंने कहा कि उनकी किसी भी समुदाय से विशेष मांग नहीं है और उनके लिए कांग्रेस ही उनका समुदाय है।
शिवकुमार ने वोक्कालिगा समुदाय के आध्यात्मिक नेता नंजावदुथा स्वामीजी से मुलाकात पर कहा कि वे सभी समुदायों को समान रूप से देखते हैं। उन्होंने कहा, “मुझे कुछ नहीं चाहिए। मैं किसी बात की जल्दी में नहीं हूं। मेरा पार्टी पर पूरा भरोसा है। कांग्रेस ही मेरा समुदाय है और मेरा प्रेम हर वर्ग के लिए है।”
कर्नाटक में यह नेतृत्व विवाद नवंबर में कांग्रेस सरकार के कार्यकाल के आधे पड़ाव पर पहुंचने के बाद शुरू हुआ। इस बीच अटकलें थीं कि हाईकमान नेतृत्व को लेकर बैठक कर सकता है, लेकिन शिवकुमार ने कहा कि वे दिल्ली इसलिए जाएंगे ताकि संसद के शीत सत्र से पहले किसानों की समस्या को सामने रख सकें।
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उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार किसानों को पर्याप्त सहयोग नहीं दे रही, खासकर मक्का खरीद को लेकर राज्य की मांगों पर ध्यान नहीं दिया जा रहा। उन्होंने बताया कि मुख्यमंत्री केंद्र के साथ इन मुद्दों पर चर्चा कर रहे हैं।
उधर, कर्नाटक के मंत्री प्रियांक खड़गे ने नेतृत्व परिवर्तन की अटकलों को खारिज करते हुए कहा कि कांग्रेस एकजुट है। खड़गे ने बताया कि उनकी उपमुख्यमंत्री से मुलाकात सिर्फ प्रशासनिक मुद्दों के लिए थी, लेकिन मीडिया और विपक्ष इसे लेकर अनावश्यक अटकलें फैला रहे हैं।
उन्होंने कहा कि हाईकमान जब चाहेगा, नेता दिल्ली जाएंगे और पार्टी की 130 साल की परंपरा के अनुसार वही अंतिम निर्णय लेगा।
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