दिग्विजय सिंह की पोस्ट पर सियासी घमासान, बीजेपी ने पूछा– क्या राहुल गांधी दिखाएंगे साहस?
दिग्विजय सिंह की आरएसएस-भाजपा की संगठनात्मक क्षमता की सराहना वाली पोस्ट पर विवाद खड़ा हो गया है। बीजेपी ने राहुल गांधी पर निशाना साधते हुए कांग्रेस नेतृत्व को अलोकतांत्रिक बताया।
वरिष्ठ कांग्रेस नेता और राज्यसभा सांसद दिग्विजय सिंह की एक सोशल मीडिया पोस्ट ने सियासी विवाद खड़ा कर दिया है। यह विवाद ऐसे समय में सामने आया है, जब एक सप्ताह पहले ही उन्होंने पार्टी के भीतर सुधारों की जरूरत को लेकर नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी को पत्र लिखा था। शनिवार को दिग्विजय सिंह ने 1990 के दशक की प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की एक श्वेत-श्याम तस्वीर साझा की, जिसमें वह बीजेपी के वरिष्ठ नेता लालकृष्ण आडवाणी के पास फर्श पर बैठे दिखाई दे रहे हैं।
इस तस्वीर को साझा करते हुए दिग्विजय सिंह ने भाजपा और उसकी वैचारिक संस्था राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) की संगठनात्मक क्षमता की सराहना की। उन्होंने लिखा कि किस तरह जमीनी स्तर के स्वयंसेवक, जो कभी फर्श पर बैठते थे, संगठन के भीतर आगे बढ़कर मुख्यमंत्री और प्रधानमंत्री जैसे पदों तक पहुंचे। उन्होंने इसे संगठन की ताकत बताया और पोस्ट के अंत में “जय सिया राम” लिखा।
पोस्ट वायरल होने के बाद विवाद बढ़ा तो दिग्विजय सिंह ने सफाई दी। उन्होंने कहा कि उन्होंने केवल संगठन की मजबूती की बात की है, लेकिन वे भाजपा और आरएसएस का विरोध पहले की तरह जारी रखेंगे। बताया जाता है कि यह तस्वीर 1996 में गुजरात के तत्कालीन मुख्यमंत्री शंकरसिंह वाघेला के शपथ ग्रहण समारोह के दौरान ली गई थी।
और पढ़ें: नए साल से पहले दिल्ली में ऑपरेशन आघात की बड़ी कार्रवाई, सैकड़ों आरोपी गिरफ्तार
इस पोस्ट को लेकर भाजपा ने कांग्रेस और राहुल गांधी पर निशाना साधा। भाजपा प्रवक्ता सीआर केसवन ने कहा कि दिग्विजय सिंह की टिप्पणी ने कांग्रेस नेतृत्व की “तानाशाही और अलोकतांत्रिक” कार्यशैली को उजागर कर दिया है। उन्होंने सवाल उठाया कि क्या राहुल गांधी इस “सच्चाई के बम” पर प्रतिक्रिया देंगे।
कांग्रेस सूत्रों ने शुरुआती प्रतिक्रिया में कहा कि पार्टी को अपनी संगठनात्मक मजबूती के लिए अपने अतीत से सीख लेनी चाहिए, न कि आरएसएस या भाजपा से। दिग्विजय सिंह की इस पोस्ट में कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे, राहुल गांधी और प्रियंका गांधी वाड्रा को टैग किया गया था, जिसे हाईकमान के लिए एक संदेश के रूप में देखा जा रहा है।