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तमिलनाडु राइजिंग समिट: 91 एमओयू पर हस्ताक्षर, स्टालिन बोले—समान विकास ही लक्ष्य

तमिलनाडु राइजिंग समिट में 91 एमओयू पर हस्ताक्षर कर ₹36,660 करोड़ निवेश आकर्षित किए गए। स्टालिन ने कहा कि सरकार का लक्ष्य पूरे राज्य में समान औद्योगिक विकास सुनिश्चित करना है।

तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एम.के. स्टालिन ने रविवार (7 दिसंबर 2025) को मदुरै में आयोजित टी.एन. राइजिंग समिट के दौरान राज्य सरकार की समान और संतुलित क्षेत्रीय विकास की प्रतिबद्धता को दोहराया। उन्होंने कहा कि उनकी सरकार ने पिछले चार वर्षों में ₹11.38 लाख करोड़ के निवेश आकर्षित किए हैं, जिनसे 34 लाख रोजगार सृजित हुए हैं।

मुख्यमंत्री स्टालिन ने बताया कि यह समिट दक्षिणी जिलों में औद्योगिक विकास को तेज करने की सरकार की बड़ी योजना का हिस्सा है। सम्मेलन के दौरान कुल 91 समझौता ज्ञापनों (MoUs) पर हस्ताक्षर किए गए, जिनका मूल्य ₹36,660 करोड़ है। इन निवेशों के माध्यम से बड़े पैमाने पर रोजगार सृजन और औद्योगिक ढांचे को मजबूत करने की उम्मीद है।

उन्होंने कहा कि राज्य सरकार दक्षिणी तमिलनाडु को औद्योगिक रूप से सशक्त बनाने के लिए विशेष ध्यान दे रही है, ताकि यह क्षेत्र राज्य के उत्तरी और पश्चिमी हिस्सों के बराबर प्रगति कर सके। स्टालिन ने कहा कि यह सरकार की नीति का मुख्य आधार है कि विकास किसी एक क्षेत्र तक सीमित न रहे, बल्कि पूरे राज्य में समान गति से आगे बढ़े।

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मुख्यमंत्री ने यह भी उल्लेख किया कि बीते वर्षों में सरकार ने बुनियादी ढांचे, स्किल डेवलपमेंट, निवेश-अनुकूल नीतियों और विशेष आर्थिक गलियारों पर विशेष ध्यान दिया है। इससे न केवल घरेलू बल्कि विदेशी निवेशकों का भी विश्वास बढ़ा है।

समिट में उद्योग जगत की कई बड़ी कंपनियों के प्रतिनिधि उपस्थित रहे। इन MoUs के माध्यम से विनिर्माण, नवीकरणीय ऊर्जा, इलेक्ट्रॉनिक्स, वस्त्र और ऑटो कंपोनेंट्स जैसे प्रमुख क्षेत्रों में निवेश की पुष्टि हुई है।
सरकार का मानना है कि दक्षिणी तमिलनाडु को ‘विकास हब’ के रूप में स्थापित करने से पूरे राज्य की आर्थिक गति और मजबूत होगी।

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