नौरादेही टाइगर रिज़र्व बनेगा एमपी का तीसरा चीता आवास, अगले मानसून से पहले होगी शुरुआत: सीएम मोहन यादव
मुख्यमंत्री मोहन यादव ने बताया कि नौरादेही स्थित वीरांगना दुर्गावती टाइगर रिज़र्व अगले मानसून से पहले मध्य प्रदेश का तीसरा चीता आवास बनेगा।
मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री मोहन यादव ने कहा है कि सागर जिले के नौरादेही क्षेत्र में स्थित वीरांगना दुर्गावती टाइगर रिज़र्व को अगले वर्ष मानसून से पहले राज्य का तीसरा चीता आवास विकसित किया जाएगा। अफ्रीका से लाए गए चीतों के कूनो नेशनल पार्क में सफल पुनर्वास के बाद यह राज्य के लिए एक और बड़ी उपलब्धि होगी। राज्य मंत्रिमंडल ने नौरादेही स्थित इस टाइगर रिज़र्व को चीतों के लिए विकसित करने को सैद्धांतिक मंजूरी दे दी है।
मुख्यमंत्री मोहन यादव ने साक्षात्कार में कहा कि प्रदेश में तीन बड़े चीता रिज़र्व तैयार किए जा रहे हैं। अभी गांधी सागर टाइगर रिज़र्व में केवल तीन चीतों को छोड़ा गया है, लेकिन वहां भविष्य में लगभग 50 चीतों को बसाया जा सकता है। नौरादेही को हाल ही में खजुराहो में हुई कैबिनेट बैठक में मंजूरी दी गई है और वहां चीतों के लिए विशेष बाड़ा तैयार किया जा रहा है, जो अगले मानसून से पहले नया घर बन जाएगा।
उन्होंने बताया कि पहला चीता आवास सितंबर 2022 में श्योपुर के कूनो नेशनल पार्क में और दूसरा इस वर्ष अप्रैल में मंदसौर के गांधी सागर अभयारण्य में शुरू किया गया। कूनो नेशनल पार्क में फिलहाल 28 चीते हैं, जबकि गांधी सागर में दो चीते मौजूद हैं। जनवरी 2026 में बोत्सवाना से आठ और चीतों के कूनो लाए जाने की संभावना है।
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बाघों की बढ़ती मौतों पर मुख्यमंत्री ने कहा कि जब बाघों की संख्या अधिक होती है तो ऐसी घटनाएं स्वाभाविक हैं, लेकिन सरकार इन्हें कम करने के लिए प्रयासरत है। उन्होंने कहा कि बाघ अन्य राज्यों में भी प्रवास कर रहे हैं और वन्यजीवों का आदान-प्रदान किया जा रहा है।
मुख्यमंत्री मोहन यादव ने बताया कि सरकार गैंडे, किंग कोबरा जैसे अन्य वन्यजीवों के स्थानांतरण, स्नेक पार्क, रेस्क्यू सेंटर और पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए चिड़ियाघरों पर भी काम कर रही है। साथ ही किसानों की आय दोगुनी करने के लिए सिंचाई, बागवानी, दुग्ध उत्पादन, सौर ऊर्जा और “एक बगिया मां के नाम” अभियान पर जोर दिया जा रहा है।
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