बजट 2026 से पहले वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने शनिवार (6 दिसंबर 2025) को कहा कि कस्टम्स का सरलीकरण सरकार का अगला बड़ा सुधार होगा। उन्होंने संकेत दिया कि इस संबंध में घोषणा आगामी बजट में की जा सकती है, जिसे 1 फरवरी को पेश किए जाने की संभावना है।
वर्तमान वित्त वर्ष में सरकार ने आयकर और वस्तु एवं सेवा कर (GST) में दर तर्कसंगतीकरण और सरलीकरण जैसे सुधार किए, ताकि आम लोगों के हाथ में अधिक धन उपलब्ध हो और खर्च को बढ़ावा मिल सके।
HT लीडरशिप समिट में बोलते हुए सीतारमण ने कहा, “हमें कस्टम्स का पूरा ओवरहाल करना होगा… इसे इतना सरल बनाना जरूरी है कि अनुपालन बोझिल न लगे। साथ ही इसे पूरी तरह पारदर्शी बनाना भी महत्वपूर्ण है।” उन्होंने कहा कि प्रस्तावित सुधार व्यापक होंगे और कस्टम्स ड्यूटी दरों के तर्कसंगतीकरण को भी शामिल करेंगे।
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उन्होंने बताया कि पिछले दो वर्षों में कस्टम्स ड्यूटी घटाई गई है, लेकिन कुछ वस्तुओं पर अब भी दरें "उचित स्तर" से अधिक हैं, जिन्हें कम करना होगा। उन्होंने कहा, “कस्टम्स मेरा अगला बड़ा क्लीनिंग-अप असाइनमेंट है।”
इस वर्ष के बजट में सरकार ने औद्योगिक वस्तुओं पर सात अतिरिक्त कस्टम्स टैरिफ दरों को समाप्त करने का प्रस्ताव रखा, जो 2023-24 में हटाई गई सात दरों के बाद एक और बड़ी कार्रवाई है। अब कुल टैरिफ स्लैब घटकर आठ रह गए हैं, जिनमें शून्य दर भी शामिल है।
डॉलर के मुकाबले रुपये की गिरावट पर उन्होंने कहा कि रुपया अपना “स्वाभाविक स्तर” खोज लेगा। वर्ष 2025 में रुपये में लगभग 5% की गिरावट आई है और 3 दिसंबर को यह पहली बार 90 के स्तर को लांघते हुए 90.21 प्रति डॉलर के सर्वकालिक निचले स्तर पर बंद हुआ।
वित्त मंत्री ने विश्वास जताया कि इस वित्त वर्ष में GDP वृद्धि 7% या उससे अधिक रहेगी। भारतीय अर्थव्यवस्था ने दूसरी तिमाही में 8.2% की मजबूत वृद्धि दर्ज की, जबकि पहली छमाही में कुल वृद्धि 8% रही। सेवाओं के क्षेत्र ने दो अंकों की वृद्धि दर्ज कर अर्थव्यवस्था को मजबूती दी।
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