पश्चिम बंगाल SIR: 30 लाख मतदाताओं का 2002 की मतदाता सूची से लिंक नहीं, सुनवाई के लिए बुलाए जा सकते हैं
पश्चिम बंगाल में लगभग 30 लाख मतदाता 2002 की सूची से लिंक न मिलने पर सुनवाई के लिए बुलाए जा सकते हैं। असंग्रहणीय फॉर्मों की संख्या 58 लाख से अधिक हो चुकी है, जिनमें 24 लाख मृतक हैं।
पश्चिम बंगाल में मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण (Special Intensive Revision – SIR) के दौरान लगभग 30 लाख मतदाता 2002 की मतदाता सूची से अपना संबंध स्थापित नहीं कर पाए हैं। मुख्य निर्वाचन अधिकारी (CEO) कार्यालय के सूत्रों के अनुसार, इन मतदाताओं को ड्राफ्ट मतदाता सूची प्रकाशित होने के बाद सुनवाई के लिए बुलाया जा सकता है। यह जानकारी गुरुवार (11 दिसंबर 2025) को दी गई, जो इस विशेष पुनरीक्षण प्रक्रिया के गणना चरण का अंतिम दिन था।
ये 30 लाख मतदाता राज्य की कुल 7.6 करोड़ मतदाता संख्या (27 अक्टूबर 2025 तक) का करीब 4% हिस्सा हैं। सूत्रों के अनुसार, ड्राफ्ट रोल जारी होने के बाद अतिरिक्त जाँच और डेटा मिलान के आधार पर सुनवाई के लिए बुलाए जाने वाले मतदाताओं की संख्या और बढ़ सकती है।
सूत्रों ने यह भी बताया कि पश्चिम बंगाल में “असंग्रहणीय" (Uncollectable) मतदाता फॉर्मों की संख्या बढ़कर 58 लाख से अधिक हो चुकी है। इनमें लगभग 24.2 लाख ऐसे मतदाता भी शामिल हैं, जिन्हें 11 दिसंबर 2025 तक मृत घोषित या मृतक श्रेणी में पहचाना गया है।
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मतदाता सूची के इस व्यापक पुनरीक्षण का उद्देश्य पुरानी, ग़लत या अप्रासंगिक प्रविष्टियों को हटाना और वास्तविक पात्र मतदाताओं की पहचान सुनिश्चित करना है। चूँकि 2002 की सूची को आधार वर्ष मानकर डेटा मिलान किया जा रहा है, इसलिए जिन मतदाताओं का उस सूची से संबंध स्थापित नहीं हो पाया, उन्हें अपनी पात्रता साबित करने के लिए सुनवाई का अवसर दिया जाएगा।
चुनाव आयोग के अधिकारियों का मानना है कि इस प्रक्रिया से मतदाता सूची अधिक सटीक, अद्यतन और पारदर्शी बनेगी। राज्य में अगले वर्ष होने वाले विभिन्न चुनावों को देखते हुए यह अभ्यास प्रशासन के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण माना जा रहा है।
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