ऑस्ट्रेलिया के बॉन्डी बीच में रविवार (14 दिसंबर, 2025) को एक यहूदी कार्यक्रम के दौरान हुए भीषण हमले को लेकर बड़ा खुलासा हुआ है। भारतीय सरकारी अधिकारियों ने बताया कि इस हमले में शामिल दो हमलावरों में से एक भारतीय मूल का था। मृतक हमलावर की पहचान 50 वर्षीय साजिद अकरम के रूप में हुई है, जो हैदराबाद के तोलीचौकी इलाके का निवासी था। इस हमले में कम से कम 16 लोगों की मौत हो गई थी, जिससे ऑस्ट्रेलिया समेत दुनिया भर में आक्रोश और चिंता का माहौल है।
भारतीय अधिकारियों ने मृतक हमलावर का पृष्ठभूमि सत्यापन (बैकग्राउंड चेक) करने के बाद यह जानकारी दी। अधिकारियों के अनुसार, साजिद अकरम आखिरी बार वर्ष 2022 में भारत आया था। प्रारंभिक जांच में भारत में उसके किसी स्थानीय नेटवर्क या संपर्क के संकेत नहीं मिले हैं। अधिकारियों ने स्पष्ट किया कि अब तक की जांच में ऐसा कोई सबूत सामने नहीं आया है, जिससे यह साबित हो कि हमले की साजिश या तैयारी भारत से जुड़ी थी।
सरकारी सूत्रों के मुताबिक, साजिद अकरम वर्ष 1998 में छात्र वीजा पर ऑस्ट्रेलिया गया था और वहीं बस गया था। वह हैदराबाद के तोलीचौकी क्षेत्र का रहने वाला था, लेकिन ऑस्ट्रेलिया में बसने के बाद वह भारत केवल “दो-तीन बार” ही आया। इन यात्राओं का उद्देश्य पारिवारिक बताया गया है और इनका किसी आपराधिक गतिविधि से कोई संबंध नहीं पाया गया है।
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ऑस्ट्रेलियाई जांच एजेंसियां इस हमले के पीछे की मंशा, कट्टरपंथी प्रभाव और संभावित अंतरराष्ट्रीय कड़ियों की जांच कर रही हैं। वहीं, भारतीय अधिकारी भी ऑस्ट्रेलियाई प्रशासन के संपर्क में हैं और हरसंभव सहयोग देने की बात कही है। भारत सरकार ने दोहराया है कि आतंकवाद और हिंसा के किसी भी रूप का वह कड़ा विरोध करती है और निर्दोष लोगों की हत्या की कड़े शब्दों में निंदा करती है।
यह मामला इसलिए भी संवेदनशील माना जा रहा है क्योंकि यह एक धार्मिक कार्यक्रम के दौरान हुआ, जिसने सामाजिक सौहार्द और सुरक्षा व्यवस्था पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं।
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