भारत में इस साल धनतेरस पर उपभोक्ताओं ने अनुमानित 1 लाख करोड़ रुपए का खर्च किया, जिसमें सोने और चांदी की खरीदारी प्रमुख रही। यह त्योहारी सीजन सोने की बढ़ती कीमतों के बावजूद उत्सव के दौरान खरीदारों की मजबूत भागीदारी का संकेत देता है। प्रमुख व्यापार संगठन, ऑल इंडिया ट्रेडर्स कन्फेडरेशन (CAIT) ने यह जानकारी शनिवार को साझा की।
CAIT के अनुसार, कुल खर्च में सोने और चांदी की बिक्री का हिस्सा 60,000 करोड़ रुपए रहा, जो पिछले साल की तुलना में 25 प्रतिशत अधिक है। इस दौरान खरीदारों ने आभूषण बाजारों की ओर रुख किया, जबकि सोने की कीमतें पिछले साल की तुलना में 60 प्रतिशत बढ़कर 10 ग्राम के लिए 1,30,000 रुपए से ऊपर पहुंच गईं। CAIT के ज्वैलरी चैप्टर, ऑल इंडिया ज्वैलर्स एंड गोल्डस्मिथ फेडरेशन के राष्ट्रीय अध्यक्ष पंकज अरोड़ा ने कहा, “पिछले दो दिन आभूषण बाजारों में अभूतपूर्व भीड़ देखी गई।”
विशेषज्ञों का कहना है कि त्योहारी मांग और निवेश दोनों कारणों से सोने और चांदी की बिक्री में यह वृद्धि हुई है। आने वाले समय में उपभोक्ताओं और व्यापारियों को कीमतों में उतार-चढ़ाव के प्रति सतर्क रहना होगा, जबकि डिजिटल और ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म के माध्यम से खरीदारी के नए विकल्प भी उभर सकते हैं। इस प्रकार, त्योहारी खरीदारी का यह दौर व्यापारियों के लिए अवसर और निवेशकों के लिए मूल्य निर्धारण की चुनौती दोनों प्रस्तुत करता है।
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