पंजाब में बुधवार (30 जुलाई, 2025) को किसानों ने राज्य सरकार की भूमि पूलिंग नीति के खिलाफ बड़े पैमाने पर ट्रैक्टर मार्च आयोजित किया। यह विरोध प्रदर्शन संयुक्त किसान मोर्चा (SKM) के आह्वान पर पूरे राज्य में एक साथ किया गया, जिसमें हजारों किसान शामिल हुए।
किसानों का कहना है कि राज्य सरकार द्वारा लाई गई भूमि पूलिंग नीति उनके हितों के खिलाफ है और इससे किसानों की जमीनें प्रभावित होंगी। उन्होंने इस नीति को तुरंत वापस लेने की मांग की।
प्रदर्शनकारी किसानों ने आरोप लगाया कि नीति लागू होने से किसानों को उनकी जमीनों का उचित मुआवजा और उपयोग का अधिकार नहीं मिलेगा। उनका कहना है कि सरकार उद्योगों और निजी परियोजनाओं के लिए किसानों की जमीन जबरन अधिग्रहित करना चाहती है।
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संयुक्त किसान मोर्चा के नेताओं ने कहा कि सरकार ने इस नीति को लागू करने से पहले किसानों से कोई संवाद नहीं किया। उन्होंने चेतावनी दी कि अगर राज्य सरकार ने किसानों की मांगें नहीं मानीं, तो आंदोलन को और तेज किया जाएगा।
इस विरोध प्रदर्शन में पंजाब के विभिन्न जिलों से किसान संगठनों ने भाग लिया और ट्रैक्टरों की लंबी कतारों ने कई सड़कों पर जाम जैसी स्थिति पैदा कर दी। मार्च के दौरान किसान नेताओं ने नारेबाजी करते हुए सरकार की नीतियों को किसान विरोधी बताया।
विपक्षी दलों ने भी इस नीति का विरोध करते हुए आम आदमी पार्टी (AAP) सरकार पर निशाना साधा। उनका कहना है कि यह नीति किसानों की जमीन छीनने की साजिश है और वे किसानों के साथ मिलकर इसको वापस करवाने का प्रयास करेंगे।
किसानों ने चेतावनी दी है कि अगर सरकार ने जल्द ही भूमि पूलिंग नीति वापस नहीं ली तो पंजाब में बड़े पैमाने पर आंदोलन किया जाएगा।
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