भारतीय जनता पार्टी (BJP) के केंद्रीय नेतृत्व ने मणिपुर के अपने विधायकों को 14 दिसंबर को नई दिल्ली में बैठक के लिए बुलाया है। इस कदम से राज्य में राजनीतिक गतिरोध और संभावित सरकार गठन को लेकर अटकलें तेज हो गई हैं।
इस बैठक की जानकारी ऐसे समय में आई है जब राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू की मणिपुर की दो दिवसीय यात्रा शुक्रवार को समाप्त हुई। राष्ट्रपति की यह यात्रा सुरक्षा और संवैधानिक मसलों से जुड़ी थी।
पूर्व मुख्यमंत्री नोंगथोम्बम बिरेन सिंह ने शुक्रवार को इम्फाल में पत्रकारों से बातचीत में कहा कि बैठक का एजेंडा अभी सार्वजनिक नहीं किया गया है। उन्होंने किसी भी राजनीतिक हलफनामे या संभावित निर्णय के बारे में कोई जानकारी साझा नहीं की।
और पढ़ें: हैदराबाद में बाबरी मस्जिद स्मारक की घोषणा से राजनीतिक बवाल, BJP ने बताया खतरनाक कदम
मणिपुर में विधानसभा चुनाव के बाद कोई स्थायी सरकार नहीं बन पाई है और राजनीतिक दलों के बीच गठबंधन को लेकर जटिल स्थिति बनी हुई है। भाजपा की इस बैठक को राज्य में सरकार गठन की दिशा में संभावित कदम के रूप में देखा जा रहा है।
राजनीतिक विश्लेषकों का मानना है कि केंद्रीय नेतृत्व द्वारा विधायकों को दिल्ली बुलाना इस बात का संकेत हो सकता है कि पार्टी किसी रणनीतिक निर्णय पर विचार कर रही है। साथ ही, यह कदम विपक्षी दलों और स्थानीय नेताओं के लिए भी महत्वपूर्ण संदेश है।
बैठक में मणिपुर के सभी बीजेपी विधायक शामिल होंगे और संभावित रणनीतियों, सरकार गठन की संभावनाओं और अन्य राजनीतिक मसलों पर चर्चा होने की उम्मीद है।
राज्य में राजनीतिक गतिरोध के बीच यह बैठक काफी अहम मानी जा रही है, और इसके नतीजे आगामी दिनों में स्पष्ट होंगे।
और पढ़ें: उमर अब्दुल्ला के लाइफ़ सपोर्ट बयान पर घमासान: INDIA गठबंधन में मतभेद, BJP ने उड़ाया मज़ाक