महाराष्ट्र में स्थानीय निकाय चुनावों के रुझानों में भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) निर्णायक बढ़त बनाती नजर आ रही है और पार्टी भारी जीत की ओर बढ़ रही है। राज्य में 246 नगर परिषदों और 42 नगर पंचायतों के लिए हुए चुनावों में कुल 6,859 सीटों पर मतदान हुआ था। उपलब्ध रुझानों के अनुसार, बीजेपी 3,120 सीटों पर आगे चल रही है, जो उसके मजबूत जनाधार को दर्शाता है।
अन्य दलों की बात करें तो शिवसेना 600 सीटों पर और राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एनसीपी) 200 सीटों पर बढ़त बनाए हुए है। वहीं विपक्षी गठबंधन के घटक दलों में शिवसेना (उद्धव बालासाहेब ठाकरे) 145 सीटों पर, कांग्रेस 105 सीटों पर और एनसीपी (शरद पवार गुट) 122 सीटों पर आगे हैं।
गठबंधनों के स्तर पर देखें तो बीजेपी के नेतृत्व वाला महायुति गठबंधन 214 स्थानीय निकायों में बढ़त बनाए हुए है, जबकि विपक्षी महाविकास अघाड़ी 52 निकायों में आगे चल रही है। करीब एक दशक बाद हुए इन चुनावों को राज्य के अर्ध-शहरी और ग्रामीण इलाकों में राजनीतिक ताकत के आकलन के रूप में देखा जा रहा है।
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ये नतीजे 2024 के विधानसभा चुनावों में महायुति की भारी जीत के एक साल बाद सामने आए हैं। महाराष्ट्र में कृषि संकट, महिलाओं के लिए सरकार की प्रमुख कल्याणकारी योजना के आंशिक भुगतान और किसानों की आर्थिक सहायता को लेकर शिकायतों के बावजूद विपक्ष से मजबूत मुकाबले की उम्मीद थी। हालांकि, विपक्षी दलों के प्रचार में समन्वय और आक्रामकता की कमी दिखाई दी।
कांग्रेस नेताओं ने विदर्भ और मराठवाड़ा में सक्रिय प्रचार किया, लेकिन शिवसेना (यूबीटी) और एनसीपी (एसपी) के नेता सीमित क्षेत्रों तक ही सिमटे रहे। इसके उलट, सत्तारूढ़ महायुति ने मुख्यमंत्री और दोनों उपमुख्यमंत्रियों के नेतृत्व में दूर-दराज के इलाकों तक व्यापक अभियान चलाया।
हालांकि चुनाव से पहले महायुति के भीतर भी मतभेद सामने आए और कुछ क्षेत्रों में सहयोगी दलों के बीच सीधा मुकाबला हुआ। इसके बावजूद नतीजे बीजेपी के पक्ष में जाते दिख रहे हैं। इन चुनावों के परिणाम अगले महीने होने वाले बेहद अहम मुंबई महानगरपालिका (बीएमसी) चुनावों से पहले राजनीतिक संकेतक माने जा रहे हैं।
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