महाराष्ट्र के लातूर जिले में एक सनसनीखेज मामला सामने आया है, जहां एक युवक ने अपनी मौत का नाटक रचने के लिए एक निर्दोष व्यक्ति की हत्या कर दी। आरोपी ने न सिर्फ एक व्यक्ति को जिंदा जला दिया, बल्कि अपने परिवार को भी अपनी मौत का यकीन दिला दिया। हालांकि, प्रेमिका को भेजे गए संदेशों ने उसकी साजिश का पर्दाफाश कर दिया।
रविवार तड़के लातूर के औसा तालुका में पुलिस को एक पूरी तरह जली हुई कार में एक जला हुआ शव मिलने की सूचना मिली। जांच के दौरान कार के मालिक का पता चला, जिसने बताया कि उसने यह कार अपने रिश्तेदार गणेश चव्हाण को दी थी। जब पुलिस ने गणेश चव्हाण से संपर्क करने की कोशिश की तो पता चला कि वह घर नहीं लौटा है और उसका फोन भी बंद है। इन तथ्यों के आधार पर पुलिस ने प्रारंभिक तौर पर मान लिया कि जली हुई कार में मिला शव गणेश चव्हाण का ही है।
हालांकि, जांच आगे बढ़ने पर कई कड़ियां मेल नहीं खा रही थीं। पुलिस ने गणेश चव्हाण के निजी जीवन की पड़ताल की तो पता चला कि वह एक महिला के साथ रिश्ते में था। जब पुलिस ने उस महिला से पूछताछ की तो उसने बताया कि घटना के बाद भी गणेश चव्हाण किसी अन्य मोबाइल नंबर से उसे लगातार संदेश भेज रहा था।
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इसके बाद पुलिस ने उस वैकल्पिक नंबर को ट्रैक किया, जिससे वे कोल्हापुर होते हुए सिंधुदुर्ग जिले के विजयदुर्ग पहुंचे, जहां गणेश चव्हाण को हिरासत में ले लिया गया।
पूछताछ में खुलासा हुआ कि गणेश चव्हाण ने एक करोड़ रुपये की जीवन बीमा पॉलिसी ली थी और वह उस रकम से अपना होम लोन चुकाना चाहता था। इसी लालच में उसने अपनी मौत का नाटक रचने की योजना बनाई।
शनिवार को उसने औसा के तुलजापुर टी-जंक्शन पर एक शराब के नशे में धुत्त राहगीर गोविंद यादव को लिफ्ट दी। खाने के बाद जब यादव कार में सो गया, तो चव्हाण ने उसे ड्राइवर सीट पर बैठाया, सीट बेल्ट बांधी, माचिस और प्लास्टिक रखकर आग लगा दी। पुलिस को गुमराह करने और परिवार को यकीन दिलाने के लिए उसने अपनी कलाई का ब्रेसलेट शव के पास छोड़ दिया।
पुलिस ने हत्या का मामला दर्ज कर लिया है और यह भी जांच की जा रही है कि इस साजिश में आरोपी का कोई सहयोगी था या नहीं।
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