प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने मंगलवार (5 अगस्त 2025) को कहा कि इज़राइल को गाज़ा में हमास को “पूरी तरह हराना” होगा ताकि शेष बंधकों की रिहाई सुनिश्चित की जा सके। यह बयान ऐसे समय में आया है जब कुछ दिनों बाद कैबिनेट की बैठक में अद्यतन युद्ध योजना पर चर्चा होने वाली है।
सूत्रों के अनुसार, प्रस्तावित युद्ध योजना को अभी तक आधिकारिक स्वीकृति नहीं मिली है, लेकिन फिलिस्तीनी प्राधिकरण और गाज़ा की हमास-नियंत्रित सरकार से पहले ही इस पर तीखी प्रतिक्रियाएं सामने आई हैं। नेतन्याहू ने कहा कि हमास को परास्त किए बिना बंधकों को सुरक्षित घर लाना संभव नहीं है। उन्होंने स्पष्ट किया कि इज़राइल अपने सैन्य अभियान को तब तक जारी रखेगा जब तक सभी बंधक मुक्त नहीं हो जाते और हमास की आतंकवादी क्षमताएं पूरी तरह नष्ट नहीं कर दी जातीं।
गाज़ा में चल रहे संघर्ष ने मानवीय संकट को और गहरा कर दिया है। संयुक्त राष्ट्र और कई अंतरराष्ट्रीय संगठनों ने बार-बार युद्धविराम और वार्ता की अपील की है, लेकिन नेतन्याहू का कहना है कि किसी भी स्थायी समाधान के लिए पहले हमास को हराना अनिवार्य है।
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विश्लेषकों का मानना है कि इस बयान से यह संकेत मिलता है कि इज़राइल निकट भविष्य में युद्ध की तीव्रता बढ़ा सकता है। वहीं, फिलिस्तीनी पक्ष का कहना है कि यह योजना क्षेत्र में शांति की संभावनाओं को और कमजोर करेगी।
कैबिनेट की बैठक से पहले इस बयान ने राजनीतिक हलकों में बहस को तेज कर दिया है। अंतरराष्ट्रीय दबाव के बावजूद इज़राइल का सख्त रुख यह दर्शाता है कि सरकार युद्ध को निर्णायक रूप से समाप्त करना चाहती है।
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