प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने पीएसीएल (PACL) मामले में बड़ी कार्रवाई करते हुए लगभग ₹696.21 करोड़ की संपत्तियों को अटैच किया है। यह कदम कंपनी पर लगे उन गंभीर आरोपों के तहत उठाया गया है, जिनमें कहा गया है कि पीएसीएल और उसके सहयोगियों ने धोखाधड़ीपूर्ण सामूहिक निवेश योजनाओं (Collective Investment Schemes) के जरिए हजारों निवेशकों से लगभग ₹48,000 करोड़ की रकम इकट्ठी कर ली थी।
जांच एजेंसियों के अनुसार, पीएसीएल ने रियल एस्टेट निवेश योजनाओं के नाम पर लोगों को ऊँचे रिटर्न का लालच दिया और बड़े पैमाने पर धन एकत्रित किया। लेकिन इस राशि का इस्तेमाल कंपनी ने निवेशकों के हित में न करके अन्य अवैध कार्यों और व्यक्तिगत लाभ के लिए किया। इससे लाखों छोटे निवेशक प्रभावित हुए, जिन्होंने अपनी जीवन भर की जमा पूंजी खो दी।
ईडी ने कहा कि अटैच की गई संपत्तियों में जमीन, भवन और अन्य मूल्यवान परिसंपत्तियाँ शामिल हैं। यह कार्रवाई मनी लॉन्ड्रिंग निवारण अधिनियम (PMLA) के तहत की गई है। एजेंसी का मानना है कि यह संपत्तियाँ सीधे तौर पर धोखाधड़ी से अर्जित धन से जुड़ी हुई हैं।
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पीएसीएल घोटाला देश के सबसे बड़े निवेश घोटालों में से एक माना जाता है। इस मामले में पहले भी कई बार प्रवर्तन एजेंसियों द्वारा छापेमारी और संपत्ति जब्ती की कार्रवाई की जा चुकी है। अदालत की निगरानी में पीएसीएल निवेशकों को न्याय दिलाने की प्रक्रिया जारी है।
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