कांग्रेस ने केंद्र सरकार द्वारा महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी योजना (मनरेगा) से महात्मा गांधी का नाम हटाए जाने के फैसले के विरोध में रविवार (21 दिसंबर 2025) को श्रीनगर में सड़क पर उतरकर प्रदर्शन किया। इस दौरान जम्मू-कश्मीर कांग्रेस अध्यक्ष और विधायक तारिक हमीद कर्रा ने अपने समर्थकों के साथ सरकार विरोधी और गांधी समर्थक नारे लगाए।
प्रदर्शन को संबोधित करते हुए कर्रा ने कहा कि महात्मा गांधी केवल किसी सरकारी दस्तावेज या योजना का नाम नहीं है, बल्कि वे करोड़ों लोगों के दिलों में बसे हुए हैं। उन्होंने कहा, “महात्मा गांधी जनता के दिलों में जीवित हैं और उन्हें कागज़ी कार्रवाई से हटाया नहीं जा सकता। भाजपा भ्रम में जी रही है। सरकारी रिकॉर्ड से महात्मा गांधी का नाम हटाने से उनकी विचारधारा खत्म नहीं हो सकती।”
कांग्रेस नेताओं ने आरोप लगाया कि केंद्र सरकार जानबूझकर गांधी की विरासत और उनकी सोच को कमजोर करने की कोशिश कर रही है। उनका कहना था कि मनरेगा जैसी जनकल्याणकारी योजना महात्मा गांधी के आत्मनिर्भरता, श्रम के सम्मान और ग्रामीण विकास के विचारों से प्रेरित है। ऐसे में इस योजना से गांधी का नाम हटाना उनकी सोच का अपमान है।
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प्रदर्शन के दौरान कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने हाथों में तख्तियां लेकर लोकतंत्र, सामाजिक न्याय और रोजगार के अधिकार की मांग की। नेताओं ने कहा कि महात्मा गांधी का नाम केवल एक प्रतीक नहीं है, बल्कि यह देश की आत्मा और संविधान में निहित मूल्यों का प्रतिनिधित्व करता है।
तारिक हमीद कर्रा ने चेतावनी दी कि यदि केंद्र सरकार ने यह फैसला वापस नहीं लिया तो कांग्रेस पूरे देश में आंदोलन तेज करेगी। उन्होंने कहा कि गांधी की विचारधारा को मिटाने का कोई भी प्रयास सफल नहीं होगा और जनता इस मुद्दे पर सरकार को जवाब देगी।
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