तमिलनाडु के करुर जिले में टीवीके रैली के दौरान हुई भगदड़ में 39 लोगों की मौत के बाद पूर्व मुख्यमंत्री पलानीस्वामी ने सुरक्षा व्यवस्था की खामियों को जिम्मेदार ठहराया है। उन्होंने कहा कि इस तरह की बड़ी घटनाओं में उचित सुरक्षा और आपातकालीन सेवाओं की व्यवस्था न होने के कारण जानों का नुकसान हुआ।
पलानीस्वामी ने विशेष रूप से रैली के दौरान अभिनेता विजय के एक बयान का हवाला दिया, जिसमें उन्होंने घटनास्थल पर एम्बुलेंस की उपलब्धता पर सवाल उठाए थे। पलानीस्वामी ने कहा कि इस तरह के बयान “संदेह पैदा करते हैं” और घटनाओं की गंभीरता को नजरअंदाज करने जैसी स्थिति पैदा कर सकते हैं। उन्होंने यह भी जोर दिया कि सुरक्षा और आपातकालीन इंतजामों में हुई लापरवाही की जांच होनी चाहिए और दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जानी चाहिए।
उन्होंने कहा कि ऐसी घटनाएं केवल पीड़ितों और उनके परिवारों के लिए नहीं, बल्कि पूरे समाज और प्रशासन के लिए चेतावनी है। पलानीस्वामी ने राज्य सरकार से अपील की कि भविष्य में किसी भी बड़े सार्वजनिक कार्यक्रम के दौरान सुरक्षा और आपातकालीन सेवाओं की व्यवस्था सुनिश्चित की जाए।
और पढ़ें: करुर में टीवीके रैली में मृतकों पर राष्ट्रपति और केंद्रीय नेताओं ने जताया शोक, टीएन नेताओं ने जांच की मांग की
विशेषज्ञों का मानना है कि रैलियों और बड़े आयोजनों में सुरक्षा इंतजाम की कमी अक्सर गंभीर परिणामों को जन्म देती है। पलानीस्वामी का बयान इस बात पर भी प्रकाश डालता है कि राजनीतिक और सार्वजनिक हस्तियों के बयान घटना के बाद भावनात्मक प्रतिक्रिया को बढ़ा सकते हैं और जनता में भ्रम पैदा कर सकते हैं।
करुर रैली की यह त्रासदी सुरक्षा प्रबंधन, प्रशासनिक तैयारी और आपातकालीन सेवाओं के महत्व को उजागर करती है।
और पढ़ें: 15 वर्षीय किशोर की हिंसा में मौत, सात नाबालिगों को हिरासत में लिया गया