महाराष्ट्र के नांदेड जिले में बाढ़ के चलते सैकड़ों लोगों को सुरक्षित स्थानों पर स्थानांतरित किया गया। प्रशासन ने तत्काल कार्रवाई करते हुए प्रभावित इलाकों से लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया। जिले में गोदावरी और असना नदी खतरे के निशान से ऊपर बह रही हैं, जिससे बाढ़ की स्थिति गंभीर बनी हुई है।
स्थानीय अधिकारियों ने बताया कि विष्णुपुरी बांध में अचानक पानी का स्तर बढ़ गया। 25 वर्षों में पहली बार बांध के सभी 16 गेट खोले गए, जिससे 2.5 लाख क्यूसेक्स से अधिक पानी का प्रवाह नियंत्रित तरीके से छोड़ा गया। यह कदम बाढ़ की स्थिति को नियंत्रित करने और आसपास के गांवों को सुरक्षित रखने के लिए उठाया गया।
बाढ़ से प्रभावित क्षेत्रों में प्रशासन और आपातकालीन सेवाओं की टीमें लगातार राहत और बचाव कार्य में लगी हुई हैं। नांदेड जिले के कई गांवों और कस्बों में पानी के बढ़ते स्तर के कारण लोगों को ऊँचे स्थानों पर ले जाया गया। स्वास्थ्य और सुरक्षा सुविधाओं का भी इंतजाम किया गया है।
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स्थानीय प्रशासन ने लोगों से आग्रह किया है कि वे नदी के किनारे न जाएं और प्रशासन के निर्देशों का पालन करें। मौसम विभाग ने भी अगले कुछ दिनों तक भारी बारिश की चेतावनी जारी की है।
विशेषज्ञों का कहना है कि विष्णुपुरी बांध के गेट खोलने से बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में पानी का स्तर नियंत्रण में रहेगा, लेकिन लोगों को सतर्क रहना आवश्यक है। राहत और बचाव कार्य जारी है और प्रशासन ने सभी आवश्यक उपाय किए हैं ताकि नुकसान न्यूनतम हो।
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