विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) ने अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के टीकों और ऑटिज़्म के बीच संबंध बनाने वाले दावे को पूरी तरह खारिज कर दिया है। डब्ल्यूएचओ ने स्पष्ट किया कि विज्ञान और शोध पर सवाल उठाना उचित नहीं है, और टीकों की सुरक्षा और प्रभावकारिता पर आधारित ठोस प्रमाण मौजूद हैं।
इससे पहले ट्रंप प्रशासन ने टीकों और ऑटिज़्म के बीच संभावित कनेक्शन पर बहस छेड़ी थी, जिससे स्वास्थ्य विशेषज्ञों और वैज्ञानिक समुदाय में चिंता पैदा हो गई थी। विश्व स्वास्थ्य संगठन ने जोर देकर कहा कि टीकाकरण वैश्विक स्वास्थ्य की सुरक्षा के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण है और यह गंभीर बीमारियों को रोकने में मदद करता है।
WHO के अधिकारियों ने कहा कि आधुनिक विज्ञान और अनुसंधान ने वर्षों तक यह साबित किया है कि टीके और ऑटिज़्म के बीच कोई प्रमाणित संबंध नहीं है। उन्होंने चेतावनी दी कि ऐसे unfounded दावे जनता में भ्रम और टीकाकरण विरोध को बढ़ावा दे सकते हैं, जिससे बच्चों और कमजोर समूहों की सुरक्षा पर असर पड़ता है।
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विशेषज्ञों का कहना है कि टीकाकरण से लाखों लोगों की जान बचाई जा रही है और इसके महत्व को समझना जरूरी है। WHO ने सभी देशों से अनुरोध किया है कि वे अपने नागरिकों को विज्ञान आधारित जानकारी प्रदान करें और टीकाकरण कार्यक्रमों को बढ़ावा दें।
यह स्थिति वैश्विक स्वास्थ्य समुदाय के लिए एक महत्वपूर्ण संदेश है कि वैज्ञानिक तथ्यों और प्रमाणों को ही प्राथमिकता दी जानी चाहिए, और किसी भी राजनीतिक या व्यक्तिगत दावे के आधार पर विज्ञान पर सवाल नहीं उठाया जाना चाहिए।
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