अमेरिकी सीनेटर बर्नी सैंडर्स ने राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प की सऊदी क्राउन प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान से हुई मुलाकात पर तीखी प्रतिक्रिया दी है। उन्होंने ट्रम्प पर आरोप लगाया कि वह आम मुसलमानों के प्रति नफरत रखते हैं लेकिन अरबपति तानाशाहों का साथ देते हैं। सैंडर्स ने X पर लिखा कि “ट्रम्प मुसलमानों को पसंद नहीं करते, सिवाय उन अरबपति शासकों के जो उनके परिवार को और अमीर बना सकते हैं।”
वॉशिंगटन में ट्रम्प ने क्राउन प्रिंस का बेहद भव्य स्वागत किया। उन्हें F-35 युद्धक विमानों की फ्लाईपास्ट, तोपों की सलामी, घुड़सवार सैनिकों की परेड और साउथ लॉन में शानदार भोज के साथ सम्मान दिया गया। यह दौरा 2018 के बाद उनका पहला अमेरिकी दौरा है—उसी साल पत्रकार जमाल खशोगी की इस्तांबुल स्थित सऊदी वाणिज्य दूतावास में हत्या कर दी गई थी, जिसने वैश्विक स्तर पर आक्रोश और अमेरिका-सऊदी संबंधों में तनाव पैदा कर दिया था।
पत्रकार द्वारा ट्रम्प से उनके परिवार के सऊदी व्यवसायों से जुड़े सवाल पूछे जाने पर ट्रम्प भड़क उठे। उन्होंने खशोगी को “सबसे खराब पत्रकारों में से एक” कहा और क्राउन प्रिंस का बचाव करते हुए कहा कि उन्हें इस हत्या की कोई जानकारी नहीं थी। ट्रम्प ने दावा किया कि उनके परिवार के सऊदी अरब से बहुत कम कारोबारी संबंध हैं।
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वहीं मोहम्मद बिन सलमान ने खशोगी की हत्या को “दुखद” और “एक बड़ी गलती” बताया तथा यह भी कहा कि सऊदी प्रशासन ने ऐसी घटनाओं को रोकने के लिए अपनी जांच प्रक्रिया मजबूत की है।
ट्रम्प के मुसलमानों के खिलाफ पुराने बयानों को भी फिर से चर्चा में लाया जा रहा है। 2017 में उन्होंने सात मुस्लिम-बहुल देशों पर यात्रा प्रतिबंध लगाया था। 2016 में उन्होंने कहा था, “इस्लाम हमसे नफरत करता है”, और मस्जिदों की निगरानी तथा मुस्लिम प्रवास पर अस्थायी रोक की वकालत की थी।
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