केरल के अलप्पुझा और कोट्टायम जिलों में बर्ड फ्लू (एवियन इन्फ्लुएंजा) के मामलों की पुष्टि होने से क्रिसमस और नववर्ष से पहले पोल्ट्री किसानों को बड़ा झटका लगा है। राज्य के पशुपालन विभाग के अधिकारियों ने बताया कि इन दोनों जिलों में अत्यधिक संक्रामक एवियन इन्फ्लुएंजा वायरस की मौजूदगी की पुष्टि हो चुकी है।
अधिकारियों के अनुसार, भोपाल स्थित नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ हाई-सिक्योरिटी एनिमल डिजीज़ (NIHSAD) में किए गए लैब परीक्षणों के बाद संक्रमण की पुष्टि हुई। जांच में पाया गया कि अलप्पुझा जिले की आठ पंचायतों के एक-एक वार्ड में और कोट्टायम जिले के चार गांवों में बर्ड फ्लू वायरस सक्रिय है।
त्योहारों के मौसम में पोल्ट्री उत्पादों की मांग बढ़ने की उम्मीद थी, लेकिन इस प्रकोप के कारण पोल्ट्री किसानों को भारी आर्थिक नुकसान की आशंका है। संक्रमण की पुष्टि के बाद प्रशासन ने प्रभावित इलाकों में सतर्कता बढ़ा दी है और बर्ड फ्लू नियंत्रण से जुड़े मानक संचालन प्रक्रिया (SOP) को लागू किया जा रहा है।
और पढ़ें: केरल में हाउसबोट में आग, किचन और बेडरूम राख; सभी मेहमान सुरक्षित
पशुपालन विभाग के अनुसार, संक्रमित और संदिग्ध क्षेत्रों में मुर्गियों और अन्य पक्षियों की आवाजाही पर रोक लगाई जा सकती है। इसके साथ ही आवश्यक होने पर पक्षियों को नष्ट करने (कुलिंग) की कार्रवाई भी की जाएगी, ताकि वायरस को फैलने से रोका जा सके।
स्वास्थ्य और पशुपालन अधिकारियों ने लोगों से अपील की है कि वे अफवाहों पर ध्यान न दें और प्रशासन द्वारा जारी दिशा-निर्देशों का पालन करें। विभाग ने यह भी स्पष्ट किया कि पूरी तरह पका हुआ चिकन और अंडे खाने से आमतौर पर संक्रमण का खतरा नहीं होता, लेकिन सावधानी बरतना जरूरी है।
राज्य सरकार स्थिति पर लगातार नजर बनाए हुए है और प्रभावित किसानों को राहत व मुआवजा देने की संभावनाओं पर भी विचार किया जा रहा है।
और पढ़ें: एनआईए की विशेष अदालत ने अमेरिका स्थित कश्मीरी लॉबिस्ट की संपत्ति कुर्क करने का आदेश दिया