राष्ट्रीय संस्थागत रैंकिंग फ्रेमवर्क (NIRF) 2025 की सूची में पश्चिम बंगाल का जादवपुर विश्वविद्यालय राज्य के सार्वजनिक विश्वविद्यालयों में पहले स्थान पर आया है। यह उपलब्धि राज्य के उच्च शिक्षा क्षेत्र के लिए एक बड़ी उपलब्धि मानी जा रही है।
जादवपुर विश्वविद्यालय लंबे समय से अनुसंधान, शिक्षण गुणवत्ता और नवाचार में अपनी विशेष पहचान बनाए हुए है। इस वर्ष की रैंकिंग में उसे शैक्षणिक उपलब्धियों, अनुसंधान प्रकाशनों, छात्र-शिक्षक अनुपात और प्लेसमेंट के आधार पर उच्च अंक प्राप्त हुए। शिक्षा विशेषज्ञों का मानना है कि यह परिणाम जादवपुर विश्वविद्यालय की निरंतर प्रगति और उसकी अकादमिक उत्कृष्टता को दर्शाता है।
इसके विपरीत, पश्चिम बंगाल का एकमात्र केंद्रीय विश्वविद्यालय विश्वभारती अपनी रैंकिंग में तेज गिरावट का सामना कर रहा है। कभी उच्च स्थान पर रहा यह विश्वविद्यालय अब सूची में नीचे खिसक गया है। विशेषज्ञों का कहना है कि प्रशासनिक चुनौतियां, शोध की कमी और शैक्षणिक गुणवत्ता में गिरावट इसके मुख्य कारण हो सकते हैं।
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राज्य सरकार ने जादवपुर विश्वविद्यालय की सफलता पर संतोष जताया है और कहा है कि यह उपलब्धि पूरे राज्य के लिए गर्व का विषय है। साथ ही, सरकार ने संकेत दिया है कि विश्वभारती और अन्य विश्वविद्यालयों की स्थिति सुधारने के लिए विशेष प्रयास किए जाएंगे।
एनआईआरएफ रैंकिंग देशभर के विश्वविद्यालयों की शैक्षणिक स्थिति का आकलन करती है और छात्रों, शोधकर्ताओं तथा नीति निर्माताओं के लिए एक महत्वपूर्ण मार्गदर्शक मानी जाती है।
कुल मिलाकर, जादवपुर विश्वविद्यालय की यह उपलब्धि न केवल राज्य, बल्कि देश के उच्च शिक्षा परिदृश्य में भी उसकी साख को और मजबूत करती है।
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