संयुक्त राज्य अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने हाल ही में कहा कि वह चीन से आयातित वस्तुओं पर भारी टैरिफ वृद्धि करने पर विचार कर रहे हैं। उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि वर्तमान स्थिति में चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग से मिलने की कोई वजह नहीं है।
ट्रंप ने मीडिया से बातचीत में बताया कि चीन दुनिया भर के देशों को पत्र भेज रहा है, जिसमें वह चेतावनी दे रहा है कि उसने रेयर अर्थ (दुर्लभ पृथ्वी धातुएँ) से जुड़े उत्पादन के हर तत्व पर निर्यात नियंत्रण लागू करने की योजना बनाई है। उन्होंने कहा कि यह कदम वैश्विक आपूर्ति श्रृंखला और तकनीकी उद्योगों के लिए गंभीर खतरा बन सकता है।
अमेरिकी राष्ट्रपति ने यह भी संकेत दिया कि चीन के इस कदम के मद्देनजर अमेरिका को अपनी आर्थिक नीतियों को सख्त करना पड़ेगा, ताकि अमेरिकी उद्योग और व्यापार सुरक्षित रहें। ट्रंप ने जोर देकर कहा कि आर्थिक दबाव और व्यापारिक रणनीतियों के माध्यम से ही चीन पर प्रभाव डाला जा सकता है।
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विशेषज्ञों का मानना है कि यदि अमेरिका ने वास्तव में टैरिफ में भारी वृद्धि की, तो इससे दोनों देशों के बीच व्यापारिक तनाव और बढ़ सकता है और वैश्विक बाजारों पर भी असर पड़ सकता है। यह कदम तकनीकी उद्योगों और इलेक्ट्रॉनिक वस्तुओं के उत्पादन पर विशेष रूप से प्रभाव डाल सकता है, क्योंकि इन क्षेत्रों में रेयर अर्थ तत्वों की अहमियत अत्यधिक है।
ट्रंप के बयान ने वैश्विक व्यापार और राजनीति के क्षेत्र में चीन-अमेरिका संबंधों को लेकर नई बहस और चिंताएं पैदा कर दी हैं।
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