महाराष्ट्र सरकार कॉलेजों और निजी कोचिंग संस्थानों के बीच बढ़ती साठगांठ को खत्म करने के लिए एक नया कानून लाने की तैयारी में है। विधानसभा में स्कूल शिक्षा मंत्री दादाजी भुसे ने यह जानकारी दी। उन्होंने कहा कि यह कानून जल्द ही पेश किया जाएगा, जिसका उद्देश्य कॉलेजों की अकादमिक जिम्मेदारियों को निजी संस्थानों को सौंपने की प्रवृत्ति पर रोक लगाना है।
यह कदम उन शिकायतों के मद्देनज़र उठाया जा रहा है, जिनमें बताया गया है कि कई कॉलेज कोर शिक्षण कार्यों को निजी कोचिंग क्लासेस को सौंपकर केवल नाममात्र का संचालन कर रहे हैं। इससे छात्रों को गुणवत्तापूर्ण शिक्षा से वंचित होना पड़ता है और शिक्षा प्रणाली में जवाबदेही की कमी नजर आती है।
दादाजी भुसे ने राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एनसीपी) के विधायक हीरामन खोस्कर द्वारा उठाए गए सवाल के जवाब में कहा, "सरकार जल्द ही एक ऐसा कानून लेकर आएगी जो कॉलेजों और निजी कोचिंग क्लासेस के गठजोड़ को तोड़ेगा और इस प्रकार की व्यवस्था को कानूनी रूप से रोकेगा।"
उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि नए कानून के माध्यम से यह सुनिश्चित किया जाएगा कि कॉलेज अपने अकादमिक कार्यों को पूरी तरह खुद निभाएं और छात्रों को शिक्षा के लिए अतिरिक्त खर्च का सामना न करना पड़े।
इस पहल को शिक्षा प्रणाली में सुधार और पारदर्शिता लाने की दिशा में एक बड़ा कदम माना जा रहा है।