जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने बुधवार को घोषणा की कि नेशनल लॉ यूनिवर्सिटी (एनएलयू) का संचालन अगले वर्ष अप्रैल 2026 से कश्मीर घाटी में शुरू किया जाएगा। उन्होंने यह जानकारी विधानसभा में कांग्रेस विधायक निज़ाम-उद-दीन भट द्वारा पेश किए गए एक निजी प्रस्ताव पर बोलते हुए दी।
मुख्यमंत्री ने बताया कि विश्वविद्यालय का संचालन केंद्रीय कश्मीर के बडगाम जिले के ओंपोरा क्षेत्र से शुरू होगा। यह वही स्थान है, जहां पहले सरकार ने एक सॉफ्टवेयर टेक्नोलॉजिकल पार्क स्थापित करने का निर्णय लिया था।
निज़ाम-उद-दीन भट द्वारा लाए गए प्रस्ताव में कहा गया था, “यह सदन सर्वसम्मति से सरकार से आग्रह करता है कि वह जम्मू और कश्मीर नेशनल लॉ यूनिवर्सिटी की स्थापना की प्रक्रिया को बिना किसी देरी के शुरू करे, क्योंकि पहले चरण के लिए आवश्यक धनराशि पहले ही आवंटित की जा चुकी है।”
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मुख्यमंत्री अब्दुल्ला ने इस प्रस्ताव का समर्थन करते हुए कहा कि एनएलयू की स्थापना से जम्मू-कश्मीर के छात्रों को कानून की उच्च शिक्षा के लिए राज्य से बाहर नहीं जाना पड़ेगा। इससे प्रदेश में कानूनी अनुसंधान और न्यायिक अध्ययन को भी बढ़ावा मिलेगा।
उन्होंने यह भी जोड़ा कि सरकार का लक्ष्य इस विश्वविद्यालय को एक राष्ट्रीय स्तर के विधि शिक्षा संस्थान के रूप में विकसित करना है, ताकि यहां से निकलने वाले विद्यार्थी न केवल राज्य बल्कि पूरे देश के न्यायिक ढांचे को मजबूत बना सकें।
इस घोषणा से घाटी में उच्च शिक्षा के क्षेत्र में एक नया अध्याय शुरू होने की उम्मीद जताई जा रही है।
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