केंद्रीय उपभोक्ता संरक्षण प्राधिकरण (CCPA) ने कैब-एग्रीगेटर प्लेटफॉर्म रैपिडो पर भ्रामक विज्ञापन प्रसारित करने के लिए ₹10 लाख का जुर्माना लगाया है। यह कार्रवाई उपभोक्ताओं को गुमराह करने वाले विज्ञापनों की जांच के बाद की गई।
रैपिडो के विज्ञापनों में दावा किया गया था कि ग्राहकों को "5 मिनट में ऑटो या ₹50 कैशबैक" और "गारंटीड ऑटो" सेवा मिलेगी। जांच में पाया गया कि ये दावे न तो सटीक थे और न ही कंपनी ने इन्हें पूरा करने के लिए कोई स्पष्ट व्यवस्था की थी। CCPA का कहना है कि ऐसे झूठे वादे उपभोक्ताओं को गलत सूचना देकर सेवा लेने के लिए प्रेरित करते हैं।
CCPA की ओर से जारी आदेश में कहा गया कि विज्ञापनों में किए गए दावे भ्रामक और झूठे पाए गए और यह उपभोक्ता अधिकारों का उल्लंघन है। रैपिडो को निर्देश दिया गया है कि वह इन विज्ञापनों को तुरंत वापस ले और भविष्य में ऐसे दावे करने से बचे।
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प्राधिकरण ने स्पष्ट किया कि उपभोक्ताओं को आकर्षित करने के लिए कंपनियों द्वारा किए जाने वाले ऐसे वादे केवल विपणन की चाल न बनें, बल्कि वास्तव में लागू भी हों। उपभोक्ता संरक्षण कानून के तहत कंपनियों को यह सुनिश्चित करना जरूरी है कि उनके द्वारा किए गए सभी दावे सत्यापित हों और उपभोक्ताओं को धोखा न दें।
विशेषज्ञों के अनुसार, यह फैसला उन सभी कंपनियों के लिए चेतावनी है जो विज्ञापनों के जरिए बढ़ा-चढ़ाकर दावे करती हैं, लेकिन उन्हें पूरा नहीं करतीं।
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