मुख्य न्यायाधीश (CJI) डी.वाई. चंद्रचूड़ ने सोमवार को कहा कि सुप्रीम कोर्ट केंद्र सरकार के साथ मिलकर देशभर के उच्च न्यायालयों में लंबित न्यायाधीशों की नियुक्तियों को शीघ्र निपटाने के लिए समन्वय में कार्य कर रहा है। यह बयान उस समय आया है जब न्यायपालिका में लंबित मामलों की संख्या और नियुक्तियों में देरी को लेकर सार्वजनिक और कानूनी चिंता बढ़ रही है।
मुख्य न्यायाधीश ने एक न्यायिक सम्मेलन के दौरान बताया कि कोलेजियम प्रणाली के तहत नियुक्तियों की प्रक्रिया जटिल है, लेकिन सुप्रीम कोर्ट यह सुनिश्चित करने का प्रयास कर रहा है कि कोई भी रिक्त पद लंबे समय तक खाली न रहे। उन्होंने कहा, "हम केंद्र सरकार के साथ लगातार संवाद में हैं और नियुक्तियों के लंबित प्रस्तावों को प्राथमिकता दी जा रही है।"
उन्होंने यह भी बताया कि न्यायपालिका की कुशलता बनाए रखने के लिए समयबद्ध नियुक्तियाँ अत्यंत आवश्यक हैं, खासकर तब जब उच्च न्यायालयों में मामलों की संख्या लगातार बढ़ रही है। सीजेआई ने न्यायिक सुधारों, तकनीकी प्रगति और ट्रांसपेरेंसी को भी नियुक्ति प्रक्रिया का अहम हिस्सा बताया।
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इस बयान को न्यायपालिका और कार्यपालिका के बीच सहयोग की दिशा में एक सकारात्मक संकेत के रूप में देखा जा रहा है। इससे न्यायिक ढांचे में रिक्त पदों को भरने की प्रक्रिया में तेजी आने की उम्मीद जताई जा रही है, जिससे न्याय प्रणाली की गति और गुणवत्ता दोनों में सुधार संभव हो सकेगा।
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